
@नवल खबर ब्यूरो
काशीपुर। उत्तराखंड के चर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड को लेकर महानगर कांग्रेस कमेटी की महानगर अध्यक्ष एवं वरिष्ठ कांग्रेस नेत्री अलका पाल ने भाजपा और उसके शीर्ष नेताओं पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने आरोप लगाया कि इस मामले में सच्चाई को दबाने का प्रयास किया जा रहा है और राज्य सरकार एक प्रभावशाली वीआईपी का नाम छुपाने में लगी हुई है।
अलका पाल ने कहा कि उत्तराखंड में स्वयं भाजपा के पूर्व विधायक सुरेश राठौर की पत्नी द्वारा यह दावा किया गया है कि अंकिता भंडारी की हत्या जिस वीआईपी गेस्ट को सर्विस देने से मना करने पर की गई, वह कोई और नहीं बल्कि भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव एवं उत्तराखंड के प्रभारी थे। उन्होंने सवाल उठाया कि जिस होटल में यह घटना हुई, वहां से सबूत मिटाने के लिए भाजपा सरकार ने बुलडोजर चलवाया, जबकि उसी होटल के कमरे में उस रात भाजपा प्रभारी के ठहरने की बात सामने आई है। उन्होंने कहा कि क्या यह संयोग मात्र है या इसके पीछे कोई बड़ी साजिश है।

महानगर अध्यक्ष अलका पाल ने कहा कि “बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ” का नारा देने वाली मोदी सरकार के नेताओं का यह असली चेहरा है। उन्होंने तीखे शब्दों में कहा कि जो लोग सत्ता में रहकर इस तरह की घटनाओं पर पर्दा डालते हैं, वे बेटियों की सुरक्षा का दावा कैसे कर सकते हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा का चरित्र दोहरा है—ज़ुबान पर राम और मन में आसाराम।
अलका पाल ने भाजपा पर तंज कसते हुए कहा कि पार्टी खुद को “वॉशिंग मशीन” के रूप में प्रस्तुत करती है, जहां शामिल होते ही हर व्यक्ति पाक-साफ हो जाता है, चाहे उस पर कितने ही गंभीर आरोप क्यों न हों। लेकिन जब बात अपने ही नेताओं और पार्टी से जुड़े लोगों के दाग धोने की आती है, तो भाजपा के पास कोई जवाब नहीं होता।
उन्होंने स्पष्ट कहा कि कांग्रेस पार्टी अंकिता भंडारी और उसके परिवार को न्याय दिलाने के लिए सड़क से लेकर सदन तक संघर्ष करती रहेगी। कांग्रेस इस मामले में किसी भी दोषी को बचने नहीं देगी और सच को सामने लाने के लिए अपनी लड़ाई जारी
